यूक्रेन युद्ध पर अमेरिका-ईयू में दरार, चीन ने बढ़ाया कूटनीतिक दांव
यूक्रेन युद्ध के मुद्दे पर अमेरिका और यूरोपीय संघ (ईयू) के बीच मतभेद गहराते जा रहे हैं, जबकि चीन इस मौके का फायदा उठाकर ईयू के साथ अपने संबंधों को मजबूत करने की रणनीति बना रहा है।
- Published On :
05-Mar-2025
(Updated On : 05-Mar-2025 11:06 am )
यूक्रेन युद्ध पर अमेरिका-ईयू में दरार, चीन ने बढ़ाया कूटनीतिक दांव
यूक्रेन युद्ध के मुद्दे पर अमेरिका और यूरोपीय संघ (ईयू) के बीच मतभेद गहराते जा रहे हैं, जबकि चीन इस मौके का फायदा उठाकर ईयू के साथ अपने संबंधों को मजबूत करने की रणनीति बना रहा है। हाल ही में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के बीच हुई विस्फोटक बैठक के बाद यह तनाव और बढ़ गया है।
चीन की संसद 'नेशनल पीपुल्स कांग्रेस' (एनपीसी) के प्रवक्ता लू किनजियान ने मीडिया से बातचीत में कहा कि चीन 27 सदस्यीय ईयू के साथ एकतरफा फैसलों के खिलाफ काम करने के लिए तैयार है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि चीन और यूरोप के बीच कोई मौलिक हितों का टकराव नहीं है, बल्कि वे एक-दूसरे की सफलता में योगदान देने वाले साझेदार हैं। चीन विशेष रूप से ईयू के साथ अपने व्यापारिक संबंधों को मजबूत करना चाहता है, क्योंकि उसे यूरोप में अपने एआई-सक्षम इलेक्ट्रिक वाहनों और बैटरियों के लिए एक लाभदायक बाजार दिखाई देता है। हालांकि, यूरोपीय संघ ने अपनी घरेलू कंपनियों की सुरक्षा के लिए चीनी ई-वाहनों पर भारी शुल्क लगाया हुआ है।
ट्रंप-जेलेंस्की बैठक के बाद ईयू नेताओं ने यूक्रेन के प्रति अपनी एकजुटता दिखाई, जबकि चीन के सरकारी मीडिया ने इस बैठक के वीडियो को बड़े पैमाने पर प्रसारित किया। यह स्थिति चीन के लिए चुनौतीपूर्ण है, क्योंकि ट्रंप यूक्रेन पर युद्ध समाप्त करने का दबाव डाल रहे हैं और साथ ही अपने रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन के साथ नजदीकियां बढ़ा रहे हैं। पुतिन और ट्रंप के बढ़ते मेल-मिलाप को लेकर बीजिंग में चिंता का माहौल है, क्योंकि रूस चीन का करीबी सहयोगी बना हुआ है।
इसी बीच, रूस ने भी अपनी रणनीतिक चालें चलनी शुरू कर दी हैं। एक मार्च को रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने अपने शीर्ष सुरक्षा अधिकारी सर्गेई शोइगु को बीजिंग भेजा, ताकि वे शी जिनपिंग को यूक्रेन युद्ध पर अमेरिका के साथ जारी वार्ताओं की जानकारी दे सकें। यह घटनाक्रम वैश्विक राजनीति में बड़े बदलाव की ओर इशारा कर रहा है, जहां अमेरिका, ईयू, चीन और रूस अपने-अपने हितों के लिए नई कूटनीतिक चालें चल रहे हैं।
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