यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर ज़ेलेंस्की ने हाल ही में हुए शिखर सम्मेलन के बाद रूस पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि "युद्धविराम पहले ही हो सकता था, लेकिन रूस इसे रोकने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है।
ज़ेलेंस्की का दावा है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन कुर्स्क की स्थिति और युद्धविराम समझौते को लेकर झूठ बोल रहे हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि शांति बिना किसी शर्त के शुरू होनी चाहिए और अगर रूस इसे नहीं चाहता, तो उन पर तब तक दबाव बनाया जाना चाहिए जब तक वे इसे स्वीकार नहीं कर लेते।
यूक्रेनी राष्ट्रपति ने 30 दिन के युद्धविराम प्रस्ताव पर रूस की चुप्पी को पुतिन की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि "पुतिन युद्ध को खींचते रहेंगे।" उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, "इस युद्ध को रोकने के लिए सिर्फ़ बातचीत नहीं, बल्कि और अधिक दबाव की ज़रूरत है।"
ज़ेलेंस्की ने यह भी कहा कि सुरक्षा गारंटी ही "शांति को विश्वसनीय और स्थायी बनाने की कुंजी है।" उन्होंने न सिर्फ़ यूरोप और G7 देशों से एकजुट होने की अपील की, बल्कि वैश्विक स्तर पर सभी देशों को शांति प्रयासों के समर्थन के लिए आगे आने को कहा।
दुनिया यूक्रेन के साथ
ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंथनी अल्बानीज़ ने ज़ोर देकर कहा कि उनका देश "जितना समय लगेगा, यूक्रेन के साथ खड़ा रहेगा" और इसे सही फैसला बताया।
वहीं, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री किएर स्टार्मर ने वैश्विक नेताओं से आह्वान किया कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को बातचीत की मेज़ पर आना ही होगा—"आज नहीं तो कल।"
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