इंदौर। भाजपा पार्षद कमलेश कालरा के घर हमला करवाने के मामले में महापौर परिषद के पूर्व सदस्य जीतू यादव पर अब शिकंजा कसता जा रहा है। भाजपा से निष्कासित होने के बादा अब पुलिस ने जांच के लिए एसआईटी घटित कर दी है, जिसमें 9 सदस्य शामिल किए गए हैं। सूत्र बताते हैं कि चारों ओर से राजनीतिक संरक्षण हटने के बाद अब पुलिस जीतू की गिरफ्तारी की योजना भी बना रही है।
उल्लेखनीय है कि आज सुबह ही जीतू यादव ने भाजपा की प्राथमिक सदस्यता और महापौर परिषद से इस्तीफा दिया था। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा के नाम लिखा यह इस्तीफा वायरल होते ही जीतू यादव के निष्कासन का पत्र वायरल होने लगा। शाम को पुलिस ने मामले की जांच के के लिए अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त जोन 4 आनंद यादव की अध्यक्षता में एसआईटी गठित कर दी गई है। इसमें जूनी इंदौर के सहायक पुलिस आयुक्त देवेंद्र ध्रुर्वे, थाना प्रभारी जूनी इंदौर अनिल गुप्ता, रावजी बाजार थाना प्रभारी आमोद सिंह राठौर, जूनी इंदौर के उपनिरीक्षक सतीष गर्ग, रावजी बाजार के उपनिरीक्षक रामकुमार रघुवंशी, जूनी इंदौर के सउनि शिवनंदन सेंगर, आरक्षक मुकेश गायकवाड़ और जोन 04 के सायबर सेल प्रभारी गौरव परमार को शामिल किया गया है। यह एसआईटी थाना जूनी इंदौर में इस मामले में दर्ज प्रकरण की त्वरित जांच करेगी।
इंदौर से भेजी रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई
इस मामले में भाजपा नगर अध्यक्ष गौरव रणदिवे ने कमेलश कालरा और जीतू यादव को नोटिस देकर जवाब मांगा था। इस जवाब के आधार पर रिपोर्ट भोपाल भेजी गई थी। सूत्र बताते हैं कि इंदौर से भेजी गई रिपोर्ट में भी जीतू यादव की गलती पाई गई थी। इसके बाद ही जीतू का निष्कासन तय हो गया था। इसकी भनक जैसे ही जीतू के आकाओं को लगी, उन्होंने तत्काल उससे इस्तीफा दिलवा दिया, लेकिन उनका यह दांव फेल हो गया। चूंकि मामला केंद्रीय नेतृत्व तक पहुंच चुका है, इसलिए प्रदेश संगठन भी अपने स्तर पर कोई रिस्क नहीं लेना चाहता। इस प्रकरण में वायरल वीडियो और ऑडियो से भाजपा की पूरे देश में किरकिरी हो रही थी। बताया जाता है कि पुलिस को भी जीतू के खिलाफ सख्त से सख्त कदम उठाने के निर्देश दिए गए हैं।
कल निकलनेवाली जन आक्रोश यात्रा स्थगित
भाजपा पार्षद कमलेश कालरा के घर हमले के विरोध में 12 जनवरी रविवार को इंदौर बचाओ मंंच द्वारा जन आक्रोश यात्रा निकाली जाने वाली थी। सीएम की समझाइश और जीतू यादव के भाजपा से निष्कासन के बाद यह यात्रा स्थगित कर दी गई है।
जीतू यादव ने पत्र जारी कर खुद को निर्दोष बताया
अपने निष्कासन के बाद जीतू यादव ने एक पत्र सोशल मीडिया पर जारी किया है, जिसमें वह खुद को निर्दोष बता रहा है। इसमें उसने लिखा है कि मेरी चारित्रिक, राजनीतिक हत्या करने का षडयंत्र क्षणिक, धैर्य बनाए रखें। जीतू ने लिखा... पार्टी का फैसला सिर माथे पर... मैं फिर दोहराता हूं कि जो कुछ भी हुआ वो दुखद था पर इसमें जिस तरह से कुछ लोगों ने मेरा नाम घसीटा गया वो और भी दुखद है। मैं अनुसूचित जाति का हूं, बहुत नीचे स्तर से, जमीन से उठकर यहां तक आया हूं। पिछड़े वर्ग का झूठा सर्टिफिकेट देकर शासन, प्रशासन, संगठन और जनता को धोखा देने और उनकी आंख में धूल झोंकने वाले और अपने बच्चे के साथ हुए अभद्र व्यवहार को अपनी राजनीति का आधार बनाने वाले लोग और उनके रहनुमाओं को ये सोचकर खुश होने का हक है कि उन्होंने अपने प्रभाव से अनुसूचित जाति के एक व्यक्ति की चारित्रिक और राजनीतिक हत्या करने के षडयंत्र में क्षणिक सफलता प्राप्त कर ली है।
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