इंदौर। लोकायुक्त इंदौर द्वारा भ्रष्टाचार के खिलाफ लगातार कार्रवाई जारी है। पिछले एक सप्ताह में कई लोगों को रिश्वत लेते पकड़ा गया है। आज यानी एक मार्च को लोकायुक्त इंदौर की टीम ने सहायक प्राध्यापक और प्रभारी प्राचार्य शासकीय महाविद्यालय कानवन जिला धार और डॉ मंजू पाटीदार को 9 हजार की रिश्वत लेते रंगेहाथों पकड़ा है।
लोकायुक्त इंदौर के पुलिस अधीक्षक राजेश सहाय ने बताया उनके पास शासकीय महाविद्यालय कानवन जिला धार के चौकीदार विजय बारिया ने शिकायत की थी। इसमें कहा गया था कि आवेदक का सितंबर से दिसंबर 2024 तक 4 महीने का वेतन निकाल देने के लिए डॉ. मंजू पाटीदार द्वारा 13,000 रिश्वत राशि की मांग की जा रही थी। सत्यापन में शिकायत सही पाए जाने पर आज एक मार्च को ट्रैपदल का गठन किया गया और आरोपी को आवेदक से 9 हजार रुपये रिश्वत राशि लेते कार्यालयीन कक्ष में रंगे हाथो पकडा गया। आरोपी के विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण 2018 की धारा 7 के अंतर्गत कार्यवाही जारी है। ट्रैप दल में उप पुलिस अधीक्षक दिनेश चंद्र पटेल, निरीक्षक रेणुका अग्रवाल, प्रधान आरक्षक रणजीत द्विवेदी, आरक्षक चंद्रमोहन बिष्ट, आरक्षक शैलेंद्र बघेल, आरक्षक आदित्य भदौरिया , महिला आरक्षक सोनम चतुर्वेदी, चालक शेर सिंह ठाकुर शामिल थे।
बुरहानपुर सिविल सर्जन के लेखापाल को पकड़ा
एक अन्य मामले में लोकायुक्त इकाई इंदौर ने 28 फरवरी को राधेश्याम चौहान, लेखापाल, कार्यालय सिविल सर्जन जिला चिकित्सालय बुरहानपुर को 10 हजार की रिश्वत लेते रंगेहाथों पकड़ा। इसकी शिकायत जिला चिकित्सालय बुरहानपुर में सहायक ग्रेड-3 में पदस्थ अशोक पठारे ने की थी। आवेदक के मेडिकल बिल की राशि आहरित करने की एवज में आरोपी द्वारा 20,000 की रिश्वत मांगी जा रही थी। आरोपी के विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण 2018 की धारा 7 के अंतर्गत कार्यवाही जारी है। ट्रेपदल में निरीक्षक राहुल गजभिये, निरीक्षक विक्रम चौहान, प्रधान आरक्षक प्रमोद यादव, आरक्षक विजय कुमार, आरक्षक कमलेश परिहार, आरक्षक आशीष नायडू, आरक्षक अनिल परमार एवं आरक्षक कृष्णा अहिरवार शामिल थे।
एरियर के भुगतान के लिए पांच प्रतिशत राशि मांगी
लोकायुक्त इकाई इंदौर ने सामाजिक न्याय विभाग के सहायक ग्रेड-3 पर पदस्थ अलताफ शेख के खिलाफ भी कार्रवाई की है। उसकी शिकायत अभिनव डाडेकर ने की थी। आवेदक के पिता चन्द्रशेखर आजाद आदिवासी ग्रामीण दृष्टिहीन पुनर्वसन केन्द्र भावरा जिला अलीराजपुर में वार्डन के पद पर पदस्थ थे। वर्ष 2018 में सेवानिवृत्त हुए तथा उनका स्वर्गवास 24 फरवरी 2022 को हो चुका है। आवेदक के पिता के छठे वेतनमान के एरियर की लगभग 9,36,554/- रू० स्वीकृत होकर जिला कार्यालय में भुगतान हेतु लंबित हैं। जिला कार्यालय में पदस्थ बाबू अलताफ शेख द्वारा आवेदक से उसके पिता के छठे वेतनमान के एरियर का भुगतान किेए जाने के एवज में 5 प्रतिशत रिश्वत की मांग की जा रही है। शिकायत सही जाने पर कार्रवाई की गई।
कार्यवाहक सहायक उप निरीक्षक को भी पकड़ा
लोकायुक्त की इंदौर इकाई ने 25 फरवरी को गोविन्द सिंह गिरवार कार्यवाहक सहायक उप निरीक्षक, पुलिस थाना बडगोंदा तहसील महू जिला इंदौर को 10 हजार की रिश्वत लेते रंगेहाथ पकड़ा। इसकी शिकायत ग्राम बसीपीपरी तहसील महू निवासी अनिल बारिया ने की थी। आवेदक का दिनांक 21 जनवरी 2025 को पत्नी रेखाबाई से पारिवारिक विवाद हुआ था। इसकी शिकायत आवेदक की पत्नी ने पुलिस थाना बडगोंदा मे की थी। शिकायत के आधार पर पुलिस थाना बडगोंदा में आवेदक के विरुद्ध प्रकरण दर्ज किया गया था। आवेदक के विरुद्ध दर्ज प्रकरण की जांच गोविन्द सिंह गिरवार द्वारा की जा रही थी जिसके संबंध में अनावेदक द्वारा आवेदक को प्रकरण के संबंध में बातचीत करने हेतु गवली पलासिया स्थित शराब की दुकान पर मिलने बुलाया। बातचीत के दौरान गोविन्द सिंह गिरवार द्वारा एफआईआर कमजोर करने के एवज में 20 हजार रुपए की रिश्वत मांगी गई। आरोपी को गवली पलासिया स्थित शराब की दुकान के सामने आवेदक से 10 हजार रुपये रिश्वत राशि लेते रंगेहाथ पकड़ा गया। उसे पकड़ने गए दल में निरीक्षक राहुल गजभिये, कार्यवाहक निरीक्षक रेनू अग्रवाल, आरक्षक विजय कुमार, आरक्षक अनिल परमार, आरक्षक आशीष आर्य, आरक्षक पवन पटोरिया, कार्यवाहक प्रधान आरक्षक आशीष गुर्जर, आरक्षक कमलेश तिवारी एवं चालक शेरसिंह शामिल थे।
Leave Comments